Share With Friends

इस पोस्ट में हम आपको राजस्थान की कला एवं संस्कृति से संबंधित एक महत्वपूर्ण टॉपिक Rajasthan ki bavdiya in Hindi : राजस्थान की प्रमुख बावड़ियां के बारे में क्लासरूम नोट्स उपलब्ध करवा रहे हैं जिसमें आपको राजस्थान में जितने भी Rajasthan Art and Culture : बावड़ियां परीक्षा की दृष्टि से महत्वपूर्ण है उन सभी को हम इस पोस्ट के माध्यम से आपके लिए लेकर आए हैं क्योंकि जहां से हम एक बार राजस्थान की पिछली परीक्षाओं में प्रश्न पूछे जा चुके हैं

राजस्थान की स्थापत्य कला : प्रमुख बावड़ियां सभी प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण टॉपिक है इसलिए इन्हें अच्छे से जरूर याद कर लें क्योंकि Utakrsh Rajasthan Gk Notes यहां से आगामी परीक्षाओं के लिए भी पप्रश्न बनने के बहुत ज्यादा जानते हैं

Rajasthan ki bavdiya in Hindi : राजस्थान की प्रमुख बावड़ियां

Daily Current AffairsClick Here
Weekly Current Affairs QuizClick Here
Monthly Current Affairs ( PDF )Click Here

चाँद बावड़ी/आभानेरी बावड़ी

● स्थित – दौसा

● निर्माण – निकुंभ राजा चाँद ने

● चाँद बावड़ी संभवतया राज्य की सबसे कलात्मक बावड़ी है।

● चाँद बावड़ी गुर्जर-प्रतिहारकालीन कला का एक बेजोड़ नमूना है।

● इसका निर्माण 8वीं सदी में करवाया गया।

● यह बावड़ी अपने तिलिस्म स्थापत्य के लिए विश्व प्रसिद्ध है।

● बावड़ी के प्रवेश द्वार के आगे बायीं ओर अंधेरी एवं उजाली दो लघु प्रवेश द्वार बने हुए हैं।

रानीजी की बावड़ी

स्थित – बूँदी

● उपनाम – बावड़ियों का सिरमौर

● निर्माण – इस बावड़ी का निर्माण राव राजा अनिरुद्ध सिंह की विधवा रानी नाथावती ने 18वीं सदी में करवाया था।

अनारकली की बावड़ी

● स्थित – बूँदी

● निर्माण – रानी नाथावती की दासी अनारकली द्वारा निर्माण करवाया गया।

त्रिमुखी बावड़ी

● स्थित – उदयपुर

● निर्माण – महाराणा राजसिंह की रानी रामरसदे ने करवाया था।

नौलखा बावड़ी

● स्थित – डूँगरपुर

● निर्माण – इसका निर्माण महारावल आसकरण की रानी प्रीमलदेवी ने 1659 ई. में करवाया था।

भावलदेवी की बावड़ी

● स्थित – बूँदी

● निर्माण – महाराव भावसिंह की पत्नी भावलदेवी ने करवाया था।

चमना बावड़ी

● स्थित – शाहपुरा (भीलवाड़ा)

● निर्माण – इस भव्य और तीन मंजिला बावड़ी का निर्माण महाराजा उम्मेदसिंह ने 1858 ई. में करवाया था।

काकाजी की बावड़ी

● स्थित – इन्द्रगढ़ (बूँदी)

● निर्माण – सरदारसिंह की महारानी आली ने करवाया था।

नीमराणा की बावड़ी

● स्थित – अलवर

● निर्माण – इस 9 मंजिला बावड़ी का निर्माण राजा टोडरमल ने करवाया था।

पन्ना मीणा की बावड़ी

● स्थित – आमेर (जयपुर)

● निर्माण – इसका निर्माण 17वीं शताब्दी में मिर्जा राजा जयसिंह के काल में हुआ।

हाड़ी रानी की बावड़ी

● स्थित – टोडारायसिंह (टोंक)

● निर्माण – इसका निर्माण बूँदी की राजकुमारी हाड़ी ने करवाया था।

मेड़तणी जी की बावड़ी

● स्थित – झुंझुनूँ

● निर्माण – इस बावड़ी का निर्माण शार्दूलसिंह की मृत्यु के पश्चात् उनकी पत्नी बखत कँवर ने करवाया था।

चाँद बावड़ी

● स्थित – जोधपुर

● निर्माण – महाराजा जोधा की रानी चाँद कुँवरी ने करवाया था।

● उपनाम – चौहान बावड़ी

बाटाडू का कुआँ

● स्थित – बाड़मेर

● निर्माण – रावल गुलाबसिंह द्वारा निर्मित करवाया गया था।

● उपनाम – रेगिस्तान का जलमहल

बड़गाँव की बावड़ी

● स्थित – कोटा

● निर्माण – शत्रुसाल की पटरानी जादौण ने करवाया था।

नौ चौकी पाल

● स्थित – राजसमंद

● निर्माण – इसका निर्माण महाराणा राजसिंह सिसोदिया द्वारा गोमती नदी के प्रवाह को रोककर करवाया गया था।

लवाण की बावड़ी

● स्थित – दौसा

● उपनाम – डाकणियों की बावड़ी

गड़सीसर सरोवर

● स्थित – जैसलमेर

● निर्माण – इस सरोवर का निर्माण रावल गड़सी के शासनकाल में सन् 1340 में करवाया गया।

● इसका मुख्य प्रवेश द्वार जिसे टीलों की पिरोल के नाम से जाना जाता है।

घोसुंडी की बावड़ी

● स्थित – चित्तौड़गढ़

● निर्माण – इसका निर्माण महाराणा रायमल की रानी शृंगार देवी द्वारा करवाया गया।

लोहिनी बावड़ी

● स्थित – माउन्ट आबू (सिरोही)

राजस्थान का एकीकरण के 7 चरण | Rajasthan Ka akikaran Notes in Hindi

Yearly Rajasthan Current Affairs 2022 Pdf Download | पूरे साल का करेंट अफेयर्स

यह भी पढ़े –

UPSC STUDY MATERIALCLICK HERE
GENERAL SCIENCE NOTESCLICK HERE
NCERT E-BOOK/PDFCLICK HERE
YOJNA MONTHLY MAGAZINECLICK HERE

अंतिम शब्द :

अगर आप हमारे टेलीग्राम ग्रुप से जुड़ना चाहते हैं तो नीचे क्लिक हेयर पर क्लिक करके आप सीधे टेलीग्राम के माध्यम से हम से जुड़ सकते हैं

उम्मीद करता हूं आज की इस Rajasthan ki bavdiya in Hindi : राजस्थान की प्रमुख बावड़ियां पोस्ट में शामिल प्रश्न आपको अच्छे लगे होंगे अगर आप ऐसे प्रश्नों के साथ प्रैक्टिस जारी रखना चाहते हैं तो हमारी वेबसाइट पर रोजाना विजिट करते रहे